रामलला की प्राण प्रतिष्ठा से पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रामनगरी को साफ-सुथरा बनाने का संकल्प लिया है। इसी के चलते उन्होंने इंस्टाग्राम पर एक वीडियो साझा कर देश से अयोध्या को सबसे स्वच्छ शहर बनाने की अपील की। उन्होंने कहा कि देशभर के लोगों से प्रार्थना है कि मकर संक्रांति के दिन से छोटे-मोटे तीर्थ स्थलों पर स्वच्छता का अभियान चलाया जाना चाहिए।
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा, 'मेरा अयोध्या के भाई-बहनों से है आपको देश और दुनिया के अनगिनत अतिथियों के लिए तैयार होना है। अब देश-दुनिया के लोग लगातार हर रोज अयोध्या आते रहेंगे। इसलिए अयोध्यावासियों को एक संकल्प लेना है कि रामनगरी को भारत का सबसे स्वच्छ शहर बनाने का। ये स्वच्छ अयोध्या अयोध्यावासियों की जिम्मेदारी है।
देशभर के लोगों से मेरी प्रार्थना है कि भव्य राम मंदिर के निर्माण के निमित्त, एक सप्ताह पहले 14 जनवरी को मकर संक्रांति के दिन से पूरे देश के छोटे मोटे सभी तीर्थ स्थलों पर स्वच्छता का बहुत बड़ा अभियान चलाना चाहिए। हर मंदिर में सफाई का अभियान हमें 14 जनवरी से 22 जनवरी तक चलाना चाहिए।
पीएम ने जोर देकर कहा, 'प्रभु राम सभी के हैं। भगवान राम जब आ रहे हैं तो हमारा एक भी मंदिर, एक भी तीर्थ क्षेत्र गंदा नहीं होना चाहिए।
22 जनवरी को भव्य मंदिर में रामलला की प्राण प्रतिष्ठा के साथ प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का तीन दशक पुराना प्रण भी पूरा होगा। मोदी इस दिन नए मंदिर में मुख्य यजमान के रूप में रामलला की आंखों से पट्टी हटाए जाने के बाद पहला दर्शन करेंगे। इसी के साथ 14 जनवरी 1992 को जन्मभूमि में रामलला के सामने ली गई उनकी भावपूर्ण प्रतिज्ञा साकार हो जाएगी। 11 दिसंबर 1991 में कन्याकुमारी से शुरू हुई भाजपा की एकता यात्रा 14 जनवरी 1992 को अयोध्या पहुंची थी। इस यात्रा में मुरली मनोहर जोशी के साथ आरएसएस के पूर्व प्रचारक व गुजरात भाजपा के महासचिव के रूप में नरेंद्र मोदी भी आए थे। तब वह जन्मभूमि में दर्शन करने गए थे। इस दौरान प्रतिज्ञा ली थी कि अब मंदिर में विराजमान होने के बाद दर्शन करने आएंगे।