भारतीय अंतरिक्ष एजेंसी (ISRO) के चेयरमैन एस सोमनाथ ने बताया कि साल 2024 गगनयान मिशन की तैयारियों का साल होगा। इसके अलावा इस साल इसरो ने 12-14 मिशन लॉन्च करने का लक्ष्य रखा है। पीएसएलवी-सी58 एक्सपोसैट मिशन के सफल लॉन्च के बाद मीडिया से बात करते हुए एस सोमनाथ ने ये बातें कही।
एस सोमनाथ ने कहा कि 2024 गगनयान की तैयारियों का साल रहेगा। इसके साथ ही हम हेलीकॉप्टर से ड्रॉप टेस्ट भी करेंगे, जिसमें पैराशूट सिस्टम की जांच की जाएगी। इसी तरह के कई ड्रॉप टेस्ट किए जाएंगे। इनके अलावा कई वैल्यूएशन परीक्षण भी किए जाएंगे। साथ ही हम इस साल जीएसएलवी को भी लॉन्च करेंगे। इसरो चीफ ने कहा कि इस साल (2024) में हमने कम से कम 12 मिशन लॉन्च करने का लक्ष्य तय किया है। हार्डवेयर की उपलब्धता के आधार पर ये संख्या बढ़ भी सकती है।
एक्सपोसैट सैटेलाइट मिशन के बारे में बात करते हुए एस सोमनाथ ने कहा 'यह एक खास मिशन है क्योंकि एक्सरे पोलरिमेट्री एक विशेष वैज्ञानिक क्षमता है, जिसे हमने खुद विकसित किया है। हम चाहते हैं कि ऐसे 100 वैज्ञानिक तैयार किए जाएं जो यह समझ सकें और फिर ब्लैक होल के बारे में हमारी जानकारी को बढ़ा सकें। सोमनाथ ने बताया कि आदित्य एल1 6 जनवरी को एल1 पॉइंट पर पहुंच जाएगा और उसके बाद हम अंतिम मनूवर करेंगे।
गगनयान मिशन के तहत इसरो इंसानों को अंतरिक्ष में भेजने की तैयारी कर रहा है। इस मिशन के तहत तीन लोगों की टीम को अंतरिक्ष में पृथ्वी की निचली कक्षा में भेजा जाएगा और फिर उन्हें सुरक्षित पृथ्वी पर वापस उतारा जाएगा। साल 2025 में इस मिशन को लॉन्च करने का लक्ष्य है। पहले यह मिशन साल 2022 में ही लॉन्च होना था लेकिन कोरोना महामारी और मिशन की जटिलताओं के चलते इसमें देरी हो गई। इसरो का गगनयान मिशन अगर सफल रहा तो ऐसा करने वाला भारत, अमेरिका, चीन और सोवियत संघ के बाद चौथा देश बन जाएगा।